आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ ..
आइये हम सब भ्रष्टाचार मुक्त भारत निर्माण के लिए-- सम्माननीय अन्ना हजारे जी के नेतृत्व में-- जन लोकपाल बिल बनाने के लिए--संवेदनहीन एवं तानाशाह सरकार के विरुद्ध जारी देशव्यापी जन आन्दोलन को अपना पूर्ण समर्थन देकर इसे सफल बनाएँ.....
बिल्कुल सही आह्वान हम भी इसी मे लगे हैं।
ReplyDeleteसम्पूर्ण समर्थन है.......... मन से और वाणी से अपनी जागृतावस्था में लगा ही रहता हूँ सुरेन्द्र जी, अब सोच रहा हूँ कि किस तरह शरीर से भी साथ दूँ... क्या केवल आन्दोलन में जाकर गिरफ्तारी देकर संख्या बढ़ाऊँ या फिर
ReplyDeleteअपने हिसाब से निकृष्ट से निकृष्ट अपशब्द बोंल-बोलकर अपने भीतर पनप रहे आक्रोश को समाप्त कर दूँ या फिर ....
छोटे स्तर पर ही सही व्यायाम और नैतिक 'शाखा' लगाकर बालकों को भावनात्मक रूप से तैयार करूँ...
क्योंकि मैं जानता हूँ कि बिना तैयारी के अच्छी-भली क्रान्ति भी असफल हो जाया करती है... सन सत्तावन की क्रान्ति का उदाहरण हमारे सामने है.
या फिर ... सोचता हूँ कि आर-पार की लड़ाई... तमंचे/ पिस्टल का बंदोबस्त करूँ और शहीद ऊधम सिंह की राह पकड़ लूँ.... परिवार जाये भाड़ में...
सही राह सुझाएँ ... क्या करूँ .......ऐसे में...
मैं जानता हूँ ..........जैसे मेरा आक्रोश मेरे भीतर आग लगाए है... जल रहा हूँ. वैसे ही न जाने कितने ही राष्ट्र-प्रेमी कांग्रेस-पार्टी के अत्याचारों से ज्वलित होंगे... पीड़ा असहनीय है फिर भी बर्दाश्त कर रहे हैं...
मेरा अनुमान है कि शीघ्र 'हिंसक क्रान्ति' आरम्भ होगी... क्योंकि कब तक बर्दाश्त करेंगे लोग... इस पीड़ा को.. हद होती है बर्दाश्त करने की.
सुरेन्द्र जी... मैं अपने रोजमर्रा के काम भी नहीं कर पा रहा हूँ इस पीड़ा को सहते...
लानत कांग्रेसी मंत्रियों को... धिक्कार इस सरकार को...
शाप देने का मन करता है :
मनमोहन के शरीर में कीड़े पढ़ें.... सोनिया और राहुल अपनी पूरी उम्र विकलांग होकर रहें... दिमागी और शारीरक तौर पर...
बुरी से बुरी 'हाय' लगे.............
हम सभी का समवेत स्वर ही मायने रखता है. एक साथ प्रखर विरोध होना ही चाहिए. हम सभी अन्ना हजारे के साथ ही खड़े हैं. आभार.
ReplyDeleteअन्ना के साथ हर ईमानदार भारतीय है .सार्थक लेखन .आभार
ReplyDeleteslut walk
bharshtachaar ke khilaf uthne wali har aawaj ke saath hum hain
ReplyDeleteहम भी अन्ना के साथ हैं ....
ReplyDeletekaash mera samarthan hi kafi hota ?
ReplyDeletekhte hain n ki bhukhe pet bhajan n hoi..... shri प्रतुल वशिष्ठ ji ne shayad mera aakrosh vyakt kiya hai apne shabdon main.....
सार्थक आह्वान सार्थक प्रस्तुति किन्तु अफ़सोस की हम सभी के हित की बात है और हमसे ही आह्वान करना पड़ रहा है.
ReplyDeleteआपका जज़्बा सराहनीय है.
ReplyDeleteमैं भी साथ हूं ....
ReplyDeleteok ji!
ReplyDeleteसमर्थन है |
ReplyDeleteदेशातील तरुण जागृत झालेला आहे. "युवाशक्ति हीच आमची राष्ट्रशक्ति आहे"
ReplyDeleteभ्रष्टाचार मुक्त भारत निर्मितीची हीच वेड आहे असा मोका पुन्हा येईल की नाही शंका आहे म्हणून आता स्वातन्त्रायांची दुसरी लढाई समजून अहिंसेच्या मार्गाने रसत्यावर उतरण्याची गरज आहे. तरच आपण " स्वातन्त्रायांची दुसरी लढाई जिंकू शकू, भ्रष्टाचार मुक्त भारत निर्माण करू शकू "
‘गर्जना‘ के इन स्वरों में एक स्वर मेरा मिला लो।
ReplyDeleteहम अन्ना के साथ हैं ........
ReplyDeleteपूर्ण समर्थन है।
ReplyDeleteसार्थक अभिव्यक्ति. आभार.
ReplyDeleteसादर,
डोरोथी.
समर्थन है.
ReplyDeleteहम अन्ना के साथ हैं
ReplyDeleteअन्ना तुम संघर्ष करो हम तुम्हारे साथ हैं
ReplyDeleteye smrthan to ek aagaj hai ise anjam tk phuchane ke liye hm sbhi ko aatmshudhi krni pdegi our uspr adig hona pdega tbhi is aandolan our anna ji ki mehnat shi mayne me sarthak hogi .
ReplyDeleteumdta jnsmooh iski gwahi de rha hai our ye bhut shubh lkshan hai .
wel come and support this stand .
ReplyDeleteजी हमारा पूरा समर्थन आपके अन्ना के साथ है ...
ReplyDeleteअन्ना जी के समर्थन ने आज एक विजय दिलाई है
ReplyDeleteआगे और सफलताओं को पाना है.
पूर्ण समर्थन बनाये रखना है.
मेरे ब्लॉग पर आपका इंतजार है 'झंझट'भाई.
जन लोकपाल के पहले चरण की सफलता पर बधाई.
ReplyDeleteप्रतुल जी,
ReplyDeleteसम्भालियेगा अपने आपको.
समर्थन में पूरा जोश ही नहीं पूरा होश भी हो.
अहिंसा की तो सोचियेगा भी नहीं.
क्षमा चाहता हूँ. अहिंसा की जगह हिंसा पढियेगा.
ReplyDeleteअन्ना जी ने पूरी दुनिया को दिखा दिया कि लोकतंत्र में जनता की शक्ति के आगे सारी शक्तियां छोटी हैं !
ReplyDeleteसम्पूर्ण समर्थन...अंतर्मन से...
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